माणा ग्लेशियर हिमस्खलन बचाव कार्य का समापन

‘हर काम देश के नाम’
माणा ग्लेशियर हिमस्खलन बचाव कार्य का समापन
चमोली
आज शाम साढ़े पाँच बजे आखिरी लापता श्रमिक का शव मिलने के साथ ही माणा हिमस्खलन में खोज और बचाव कार्य का समापन हुआ तथा मृतकों की संख्या बढ़कर आठ हो गई ।
28 फ़रवरी की सुबह उत्तराखंड के चमोली जिले के माणा गाँव में हुए भयावह ग्लेशियर हिमस्खलन में सीमा सड़क संगठन (बीआरओ) के कुछ लोगों के फंसे होने की सूचना मिलते ही सबसे पहले भारतीय सेना की टीम, कमांडर आईबीईएक्स ब्रिगेड के नेतृत्व मे बचाव अभियान शुरू किया । भारतीय सेना, भारतीय वायु सेना, आईटीबीपी,
एनडीआरएफ, सीमा सड़क संगठन और राज्य सरकार के संयुक्त प्रयासों द्वारा चलाए गए निरंतर और पेशेवर बचाव कार्यों के कारण 46 लोगों के जान बचाई गई।
इस बचाव अभियान मे कुल आठ हेलीकॉप्टर जिसमें सेना के पाँच, वायु सेना के दो और सेना द्वारा किराए पर लिए हुए एक सिविल हेलीकॉप्टर लगाए गये जिससे सभी बचाए गए व्यक्तियों को माणा पोस्ट से जोशीमठ मिलिटरी अस्पताल (MH) पहुचाया गया । बचाव दल के द्वारा घायलों को निकालने में प्राथमिकता दी गयी ।
लेफ्टिनेंट जनरल अनिंद्य सेनगुप्ता, जीओसी-इन-सी, मध्य कमान तथा लेफ्टिनेंट जनरल डीजी मिश्रा, जीओसी, यू बी एरिया ने दुर्घटना स्थल पर पहुंच कर खुद बचाव अभियान का जायजा लिया। आर्मी कमांडर के पहल से आज बचाव अभियान हेतु एक ड्रोन-आधारित इंटेलिजेंट बौरीड ऑब्जेक्ट डिटेक्शन सिस्टम (Drone-Based Intelligent Buried Object Detection System) के अतिरिक्त अन्य एडवांस उपकरण मंगवाए गए थे । सेना के द्वारा बचाव अभियान में कुछ अन्य संसाधनों जैसे, UAV, पाँच क्वाडकॉप्टर्स (Quadcopters), तीन मिनी RPA ड्रोन, हिमस्खलन बचाव आर्मी डॉग (रॉबिन) तथा तिरंगा माउंटेन रेस्क्यू टीम के सदस्यों का भी उपयोग किया गया ।
भारतीय सेना इस दुर्भाग्यपूर्ण प्राकृतिक आपदा में अपनी जान गंवाने वाले श्रमिकों के परिवारों के प्रति अपनी गहरी संवेदनाएं व्यक्त करती है। तथा, भारतीय सेना, आईबीईएक्स ब्रिगेड के सभी सैनिकों, भारतीय वायु सेना, आईटीबीपी, एनडीआरएफ, सीमा सड़क संगठन तथा उत्तराखंड प्रशासन के सभी कर्मियों की सराहना करती है जिन्होंने प्रतिकूल मौसम और कठिन भौगोलिक परिस्थिति को पार करते हुए इस बचाव कार्य को अंजाम दिया।